दोस्तों मैट्रिक परीक्षा 2023 का तैयारी करना चाहते है तो यहाँ पर (Social Science) सामाजिक विज्ञान का क्वेश्चन आंसर दिया गया है जिसमें अर्थशास्त्र (Economics) का राज्य एवं राष्ट्र की आय का सब्जेक्टिव क्वेश्चन आंसर ( Raajy Evan Raashtr Ke Aay Subjective Question Answer ) दिया गया है तथा सामाजिक विज्ञान का मॉडल पेपर ( Social Science Model Paper 2023 ) भी दिया गया है और आपको सोशल साइंस का ऑब्जेक्टिव क्वेश्चन आंसर राज्य एवं राष्ट्र की आय ऑब्जेक्टिव क्वेश्चन आंसर ( Raajy Evan Raashtr Ke Aay Objective Question Answer ) आपको इस वेबसाइट पर आसानी से मिल जाएगा।
- Class 10 Social Science All Chapter VVI Guess Question Paper 2023
S.N | Social Science (सामाजिक विज्ञान) 📒 |
1. | History (इतिहास) Guess Paper |
2. | Geography (भूगोल) Guess Paper |
3. | Economics (अर्थ-शास्त्र) Guess Paper |
4. | Political Science (राजनितिक विज्ञानं) Guess Paper |
5. | Disaster Management (आपदा प्रबंधन) Guess Paper |
राज्य एवं राष्ट्र की आय लघु उत्तरीय प्रश्न उत्तर और दीर्घ उत्तरीय प्रश्न उत्तर
लघु उत्तरीय प्रश्न |
1. प्रति व्यक्ति आय क्या है ?
उत्तर ⇒ राष्ट्रीय आय में देश की कुल जनसंख्या से भाग देने पर
जो भागफल आता है उसे प्रति व्यक्ति आय कहते हैं। इसका आकलन निम्न प्रकार से की जा सकती है।
प्रति व्यक्ति आय = राष्ट्रीय आय / देश की कुल जनसंख्या
2.राष्ट्रीय आय प्रात व्याआय देश की कल जनसंख्या आय से आप क्या समझते हैं ?
उत्तर ⇒ जब कोई व्यक्ति किसी प्रकार का शारीरिक अथवा मानसिक कार्य करता है तो उस व्यक्ति को उसके कार्यों के बदले जो पारिश्रमिक मिलता है, उसे उस व्यक्ति की आय कहते हैं। आय वह मापदंड है जिसके द्वारा देश के आर्थिक विकास की स्थिति का आकलन किया जाता है। देश अथवा राज्य को आय के आधार पर ही उसे विकसित अथवा विकासशील श्रेणी में रखा जाता है।
3. सकल घरेलू उत्पाद से आप क्या समझते हैं ?
उत्तर ⇒ किसी देश में किसी दिए हुए. वर्ष में वस्तुओं और सेवाओं की जो कुल मात्रा उत्पादित का जाती है उसे सकल घरेलू उत्पाद (GDP) कहा जाता है।
4. राष्ट्रीय आय की गणना में होने वाली कठिनाइयों का वर्णन करें ?
उत्तर ⇒ राष्ट्रीय आय की गणना में होने वाली कठिनाइयाँ निम्नलिखित हैं
(i).आँकड़ों को एकत्र करने में कठिनाई
(ii). दोहरी गणना की संभावना
(iii). मूल्य के मापने में कठिनाई ।
5. भारत में सर्वप्रथम राष्ट्रीय आय की गणना कब और किनके द्वारा की गई थी ?
उत्तर ⇒ भारत में सर्वप्रथम राष्ट्रीय आय की गणना 1868 ई० में दादा भाई नौरोजी के द्वारा की गई थी। उन्होंने अपनी पुस्तक ‘Poverty and Un-British Rule in India’ में प्रति व्यक्ति वार्षिक आय 20 रूपये बताया।
सामाजिक विज्ञान (हमारी अर्थव्यवस्था) पाठ – 2 राज्य एवं राष्ट्र की आय SUBJECTIVE QUESTION
6. भारत में राष्ट्रीय आय की गणना किस संस्था के द्वारा होती है ?
उत्तर ⇒ भारत में राष्ट्रीय आय की गणना केन्द्रीय सांख्यिकी संगठन (Central Statistics Organisation) के द्वारा होती है।
7. आय का गरीबी के साथ संबंध स्थापित करें ?
उत्तर ⇒ गरीबी के कारण उनकी आय कम होती है, अशिक्षा और अज्ञानता के कारण बच्चों की पैदाईश अधिक होती है, फलतः उनकी अगली पीढ़ी अधिक गरीब हो जाती है। गरीबी का यह कुचक्र अनवरत चलता रहता है। इसका आशय यह है कि गरीबी ही गरीबी को जन्म देती है।
8. मार्शल द्वारा दी गई राष्ट्रीय आय की परिभाषा दें।
उत्तर ⇒ मार्शल के अनुसार “किसी देश की श्रम एवं पूँजी का उसके प्राकृतिक साधनों का प्रयोग करने से प्रतिवर्ष भौतिक तथा अभौतिक वस्तुओं पर विभिन्न प्रकार की सेवाओं का जो शुद्ध समूह उत्पन्न होता है उसे राष्ट्रीय आय कहते हैं।”
दीर्घ उत्तरीय प्रश्न |
1. राष्ट्रीय आय की परिभाषा दें। इसकी गणना की प्रमुख विधि कौन-कौन सी हैं ?
उत्तर ⇒ राष्ट्रीय आय का मतलब किसी देश में एक वर्ष में उत्पादित वस्तुओं एवं सेवाओं के कुल मूल्य से लगाया जाता है।
दुसरे शब्दों में वर्ष भर में किसी देश में अर्जित आय की कुल मात्रा को राष्ट्रीय आय कहा जाता है। राष्ट्रीय आय की गणना निम्नलिखित विधि से की जाती है।
(i). उत्पादन विधि : राष्ट्र के व्यक्तियों की आय उत्पादन के माध्यम से अथवा मौद्रिक आय के माध्यम से प्राप्त होता है, इसलिए उसकी गणना उत्पादन के योग के द्वारा किया जाता है तो उसे उत्पादन गणना विधि कहते हैं।
(ii) आय विधि : जब राष्ट्र के व्यक्तियों की आय के आधार पर राष्ट्रीय आय की गणना की जाती है तो उस गणना विधि को आय गणना विधि कहते हैं।
(iii). व्यय विधि : प्राप्त की गई आय व्यक्ति अपने उपभोग के लिए व्यय भी करता है। इसलिए राष्ट्रीय आय की गणना लोगों के व्यय के माप से किया जाता है। राष्ट्रीय आय को मापने की इस प्रक्रिया को व्यय गणना विधि कहते हैं।
Samajik Vigyan class 10th Raajy Evan Raashtr Ke Aay subjective question answer 2023
2. प्रति व्यक्ति आय और राष्ट्रीय आय में अंतर स्पष्ट करें ?
उत्तर ⇒ राष्ट्रीय आय में देश की कुल जनसंख्या से भाग देने पर जो भागफल आता है, उसे प्रति व्यक्ति आय कहते हैं। इसका आकलन निम्न प्रकार से की जाती है
प्रति व्यक्ति आय = राष्ट्रीय आय / देश की कुल जनसंख्या
एक वर्ष में उत्पादित वस्तुओं एवं सेवाओं के कुल मूल्यों से लगाया जाता है। किसी भी देश का आर्थिक विकास राष्ट्रीय आय पर निर्भर करता है तथा आर्थिक प्रगति को मापने का सर्वोत्तम साधन भी राष्ट्रीय आय ही है। राष्ट्रीय आय = शुद्ध राष्ट्रीय उत्पाद (NNP) + GDP + विदेशों से अर्जित आय-मूल्य हास – अप्रत्यक्ष कर + सब्सीडी
3. स्वतंत्रता प्राप्ति के पश्चात भारत सरकार ने कब और किस उद्देश्य से राष्ट्रीय आय समिति का गठन किया ?
उत्तर ⇒ स्वतंत्रता प्राप्ति के पश्चात भारत सरकार ने अगस्त 1949 . ई० में प्रो० पी०सी० महालनोविस की अध्यक्षता में एक राष्ट्रीय आय समिति का गठन किया जिसका उद्देश्य . भारत की राष्ट्रीय आय के संबंध में अनुमान लगाना था। इस समिति ने अप्रैल 1951 ई० में अपनी प्रथम रिपोर्ट प्रस्तुत की थी। इसने सन् 1948-49 ई० के लिए देश की कुल राष्ट्रीय आय 8650 करोड़ बताई गई तथा प्रति-व्यक्ति आय 246.9 रू० बताई गई।
4. क्या प्रति-व्यक्ति आय में वृद्धि राष्ट्रीय आय को प्रभावित करती है, वर्णन करें ?
उत्तर ⇒ हाँ, प्रति व्यक्ति आय में वृद्धि राष्ट्रीय आय को प्रभावित करती है। राष्ट्रीय आय एवं प्रति व्यक्ति आय में परिवर्तन होने से इसका प्रभाव लोगों के जीवन स्तर पर पड़ता है। राष्ट्रीय आय वास्तव में प्रति व्यक्ति आय का योग है। प्रति-व्यक्ति आय में वृद्धि होने से रोजगार उत्पादन व विकास को बढ़ावा मिलता है। यदि राष्ट्रीय आय के सूचकांक में वृद्धि होती है तो लोगों के आर्थिक विकास में अवश्य वृद्धि होगी। निष्कर्षतः हम कह सकते हैं कि चंद परिस्थितियों को छोड़कर यदि प्रति व्यक्ति आय में वृद्धि होती है तो समाज के आर्थिक विकास में भी वृद्धि होती है तथा प्रति-व्यक्ति आय में कमी होती है तो समाज के आर्थिक विकास में भी कमी होती है।
5. राष्ट्रीय आय में वृद्धि भारतीय विकास के लिए किस तरह से लाभप्रद है, वर्णन करें ?
उत्तर ⇒ किसी भी राष्ट्र की खुशहाली एवं बदहाली वहाँ के लोगों की आय के माध्यम से जाना जाता है। राष्ट्र के विकास के लिए जो भी प्रयास किए जाते है। वह उस राष्ट्र की सीमा क्षेत्र के अंदर रहने वाले लोगों की उत्पादकता अथवा उनकी आय के बढ़ाने के माध्यम से की जाती है। वर्तमान समय में प्रत्येक देश अपने-अपने तरीके से विकास की योजना बनाती है। इसी तरह शिक्षा, विज्ञान और प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में पूँजी विनियोग के द्वारा रोजगार का सृजन किया जाता है। आर्थिक विकास करने के लिए मुख्य रूप से उत्पाद तथा आय में वृद्धि की जाती है। वस्तुओं का अधिक उत्पादन तथा व्यक्तियों की आय अधिकतम होने पर ही हम राष्ट्र में उच्चतम आर्थिक विकास की स्थिति उत्पन्न कर सकते हैं। बिना उत्पाद को बढ़ाए लोगों की आय में वृद्धि नहीं हो सकती और न ही आर्थिक विकास हो सकता है।
कक्षा 10 राज्य एवं राष्ट्र की आय का सब्जेक्टिव क्वेश्चन आंसर
6.विकास में प्रति व्यक्ति आय पर संक्षिप्त टिप्पणी लिखें ?
उत्तर ⇒ भारत में विभिन्न आर्थिक सामाजिक उद्देश्य की पूर्ती के लिए प्रति व्यक्ति आय में वृद्धि अनिवार्य है। राष्ट्रीय आय में देश की कुल जनसंख्या से भाग देने पर जो भागफल आता है उसे प्रति व्यक्ति आय कहते हैं। लोगों के जीवन को खुशहाल तथा अपना जीवन स्तर ऊँचा करने के लिए प्रति व्यक्ति आय में वृद्धि अवश्य की जानी चाहिए । भारत की प्रति व्यक्ति आय का स्तर काफी कम है। विश्व विकास रिपोर्ट के अनुसार वर्ष 2005 में भारत की प्रति-व्यक्ति आय 720 डॉलर था। जो अमेरिका में प्रति-व्यक्ति आय की तुलना में 1/71 था। आज के आधुनिक युग में कृषि क्षेत्र में हुई सुधार, विज्ञान, प्रौद्योगिकी एवं अन्य क्षेत्रों में हो रहे गुणात्मक विकास के पश्चात लोगों की आय में वृद्धि होती है। जिसका देश के आर्थिक विकास में महत्वपूर्ण योगदान होता है। प्रति-व्यक्ति आय में वृद्धि होने से राष्ट्रीय विकास को प्रोत्साहन मिलता है।
10th Class Social Science Subjective Question Answer : बिहार बोर्ड मैट्रिक परीक्षा 2023 इतिहास का लघु उत्तरीय प्रश्न और दीर्घ उत्तरीय प्रश्न उत्तर नीचे दिया गया है दिए गए लिंक पर क्लिक करके लघु उत्तरीय प्रश्न और दीर्घ उत्तरीय प्रश्न पढ़ सकते हैं । कक्षा 10 सामाजिक विज्ञान सब्जेक्टिव क्वेश्चन 2023